48 हजार शिक्षामित्र बनेंगे सहायक अध्यापक
चंदौसी। प्रदेश के 48 हजार इंटरमीडिएट पास शिक्षामित्रों के सहायक अध्यापक
बनाए जाने का रास्ता साफ हो गया है। निदेशक राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं
प्रशिक्षण परिषद ने इसके संबंध में शासनादेश जारी किया है। शिक्षामित्रों
को प्रशिक्षण देकर सहायक अध्यापक बनाने की दिशा में कार्रवाई को जुलाई में
ही अमल में लाया जाएगा।
यूपी में बेसिक शिक्षा विभाग में चल रही शिक्षकों की कमी को दूर करने के लिए सरकार प्रयास कर रही है। प्रदेश में कार्यरत 1.70 लाख शिक्षामित्रों के सहायक अध्यापक के रूप में नियुक्त किए जाने के लिए बीटीसी प्रशिक्षण कार्य चल रहा है। इसमें अभी 48 हजार ऐसे शिक्षामित्रों के लिए प्रशिक्षण कार्य नहीं चल रहा है जो इंटरमीडिएट है। केवल स्नातक उत्तीर्ण शिक्षामित्रों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। अब निदेशक राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद ने शासनादेश जारी करते हुए कहा है कि दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से प्रदेश के इन 48 हजार इंटरमीडिएट शिक्षामित्रों को दो वर्षीय बीटीसी प्रशिक्षण देकर सहायक अध्यापक बनाए जाने की प्रक्रिया होगी। प्रशिक्षण के बाद उन्हें सहायक अध्यापक के रूप में नियुक्ति तभी दी जाएगी। जब वह अपना स्नातक पाठ्यक्रम पूर्ण कर लेंगे। जुलाई माह से प्रशिक्षण कार्य शुरू किया जाना है। सभी डायट प्राचार्यों को इसके आदेश दिए गए हैं। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षामित्र संघ के जिला महामंत्री अशोक यादव ने बताया कि शासनादेश से शिक्षामित्रों को लाभ होगा। जो इंटरमीडिएट शिक्षामित्र हैं वह जल्द से जल्दअपना स्नातक भी पूर्ण करें। जिससे उन्हें लाभ मिल सके। शासनादेश को जारी करवाने में प्राथमिक शिक्षामित्र संघ का महत्वपूर्ण योगदान रहा है
यूपी में बेसिक शिक्षा विभाग में चल रही शिक्षकों की कमी को दूर करने के लिए सरकार प्रयास कर रही है। प्रदेश में कार्यरत 1.70 लाख शिक्षामित्रों के सहायक अध्यापक के रूप में नियुक्त किए जाने के लिए बीटीसी प्रशिक्षण कार्य चल रहा है। इसमें अभी 48 हजार ऐसे शिक्षामित्रों के लिए प्रशिक्षण कार्य नहीं चल रहा है जो इंटरमीडिएट है। केवल स्नातक उत्तीर्ण शिक्षामित्रों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। अब निदेशक राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद ने शासनादेश जारी करते हुए कहा है कि दूरस्थ शिक्षा के माध्यम से प्रदेश के इन 48 हजार इंटरमीडिएट शिक्षामित्रों को दो वर्षीय बीटीसी प्रशिक्षण देकर सहायक अध्यापक बनाए जाने की प्रक्रिया होगी। प्रशिक्षण के बाद उन्हें सहायक अध्यापक के रूप में नियुक्ति तभी दी जाएगी। जब वह अपना स्नातक पाठ्यक्रम पूर्ण कर लेंगे। जुलाई माह से प्रशिक्षण कार्य शुरू किया जाना है। सभी डायट प्राचार्यों को इसके आदेश दिए गए हैं। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षामित्र संघ के जिला महामंत्री अशोक यादव ने बताया कि शासनादेश से शिक्षामित्रों को लाभ होगा। जो इंटरमीडिएट शिक्षामित्र हैं वह जल्द से जल्दअपना स्नातक भी पूर्ण करें। जिससे उन्हें लाभ मिल सके। शासनादेश को जारी करवाने में प्राथमिक शिक्षामित्र संघ का महत्वपूर्ण योगदान रहा है
Amar Ujala
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